लगनशीलता, परिश्रम और अवसर का संयोग किसी भी व्यक्ति के जीवन में सदैव एक नया आयाम सृजित करता है। उपलब्धियां आज्ञाकारी सेविकाओं की तरह कतारबद्ध होकर हर क्षण अपनी बारी की प्रतीक्षा किया करती हैं और व्यक्ति व्यक्ति न होकर आदर्श व्यक्तित्व बन जाता है। ऐसे ही व्यक्तित्व के रूप में नाम आता है कानपुर की महापौर श्रीमती प्रमिला पाण्डेय का। प्रमिला जी ने सन् 1985 में भारतीय जनता पार्टी की सदस्यता लेकर राजनीति की धरती पर कदम रखा था। उसके बाद आम जन की सेवा सुश्रुसा ही इनके जीवन का एक मात्र उद्देश्य बन गया। अपनी लगनशीलता व जनसेवा के दम पर प्रमिला जी न केवल अपने क्षेत्र से दो बार पार्षद चुनी गईं बल्कि पार्टी के अंदर भी अपना एक अलग स्थान बनाया।
परिणामस्वरूप भाजपा महिला मोर्चा की जिलाध्यक्ष जैसा महत्वपूर्ण दायित्व भी आपको सौंपा गया। वर्ष 2017 के निकाय चुनाव में श्रीमती प्रमिला पाण्डेय को भारतीय जनता पार्टी ने कानपुर से महापौर का प्रत्याशी बनाया। इस चुनाव में प्रमिला जी ने कांग्रेस की वंदना मिश्रा को 1.05 लाख मतों से पराजित करते हुए रिकार्ड जीत हासिल की। प्रमिला जी अपना राजनीतिक प्रेरणा स्रोत स्मृतिशेष दीनदायल उपाध्याय जी को मानती हैं। मूल रूप से जौनपुर की रहने वालीं प्रमिला जी के पिता जमींदार थे और बाद में अपने क्षेत्र के ब्लॉक प्रमुख भी चुने गए। इस तरह से श्रीमती पाण्डेय को राजनीति अपने पिता से विरासत में मिली है। जनसेवा के लिए सदैव तत्पर रहने वाली श्रीमती प्रमिला पाण्डेय का महापौर के रूप में प्रमुख उद्देश्य इन्दौर और सूरत की तरह कानपुर का नाम देश के सर्वाधिक स्वच्छ शहरों में शुमार करना है। प्रमिला जी कानपुर को चट्टा मुक्त, सुअर मुक्त और अतिक्रमण मुक्त शहर बनाने के लिए पूरी तरह से कृत संकल्पित हैं। इसके लिए वह न केवल स्वयं प्रयासरत हैं बल्कि शहरवासियों को भी सदैव जागरूक करती रहती हैं। प्रस्तुत है कानपुर की महापौर श्रीमती प्रमिला पाण्डेय से कानपुर शहर की विभिन्न समस्याओं एवं उनके निज जीवन से जुड़े विभिन्न संदर्भों पर डॉ. दीपकुमार शुक्ल एवं बृजभूषण यादव की हुई विशेष बातचीत-
प्रश्न- महापौर बनने के बाद अब तक का क्या अनुभव रहा आपका ?उत्तर- हमको शहर की सेवा करने का अवसर मिला है। इससे अच्छा और क्या हो सकता है।
प्रश्न- कौन−कौन सी चुनौतियाँ हैं आपके सामने?उत्तर- देखिये, हमारे सामने सिर्फ एक ही चुनौती है कि लोग कानपुर को स्वच्छ बनाने में हमारी मदद करें।
प्रश्न- स्वच्छ भारत मिशन को आप कैसे आगे बढ़ाना चाहती हैं ?उत्तर- मैं तो इसको आगे बढ़ाना चाहती ही हूँ और नगरवासियों से भी मैं चाहती हूँ की वे भी इसको आगे बढ़ाएँ।