पानीपत (अमित जैन)
स्थानीय आर्य पीजी कॉलेज में पुष्पोत्सव 2020 को लेकर पत्रकार वार्ता का आयोजन किया गया। कॉलेज प्राचार्य डॉ जगदीश गुप्ता ने बताया कि इस बार का पुष्पोत्सव दिनांक 2 और 3 मार्च को आयोजित किया जा रहा है।
जिसमे में 2 दर्ज़न से अधिक शिक्षण संस्थायों व अन्य उपकर्मो के भाग लेने की आशा है। बार 100 से अधिक प्रकार के फूल पोधो को प्रदर्शित किया जाएगा। प्रदर्शनी में महाविद्यालय की तरफ से प्रदर्शित किए जाने वाले पोधो में आधे से अधिक विद्यार्थियों ने खुद तैयार किये है।
इस बार विद्यार्थियों ने 200 से अधिक फूलों के गमले तैयार किये है। इन गमलों की विशेषता ये है कि इनमें मिट्टी की बजाय नारियल का बुरादा जिसको कोकोपीट कहा जाता है, उसका इस्तेमाल किया गया है। इनका वजन कम रहता है व इनमें आसानी से कोई बीमारी इत्यादि नही आती।
इस विधि से तैयार पोधो में ठंडे मौसम की मार भी कम पड़ती है। सारे पोधो की क्वालिटी एक जैसी रहती है।
इस तकनीक से पर्यावरण को स्वच्छ बनाने में बहुत बड़ा योगदान मिलेगा जिससे शहर में ठोस कचरे के प्रबंधन की भी राह खुल सकती है। शहर में हर रोज 5000 से ज्यादा नारियल पानी के खोल इधर उधर फेंक दिए जाते है।
जिनका उपयोग नारियल का बुरादा यानी कि कोकोपीट बनाने में किया जा सकता है। व साथ कि साथ शहर के कचरे प्रबंधन के कार्य मे भी मदद मिल सकती है। इस तरह के प्रदर्शनों का मुख्य उद्देश्य विद्यार्थियों और शहरवासियों में पर्यावरण के प्रति जागरूकता पैदा करना है।
महाविद्यालय के वनस्पति शास्त्र विभाग के एचओडी डॉ बलकार सिंह ने बताया कि शहर को हरा भरा बनाने के साथ-साथ विभाग द्वारा एक बीज बैंक स्थापित किया जा रहा है जिसमे फूलों के बीजों के साथ जंगली पेड़ो के बीजो को भी सरंक्षित किया जाएगा।
इस विषय मे विद्यार्थियों को मार्च के अंतिम सप्ताह में 2 दिन का विशेष प्रशिक्षण दिया जाएगा। इन बीजों को आवश्यकता पड़ने पर अन्य संस्थाओं के साथ आदान-प्रदान भी किया जा सकेगा। जिसे पेड़ पौधों की नई-नई नस्लें तैयार की जा सकेंगी और पर्यावरण को स्वच्छ एवं सुरक्षित बनाया जा सके।